भाजपा सांसद अनंत कुमार हेगड़े ने रविवार को कहा कि प्रस्तावना से ‘धर्मनिरपेक्ष’ शब्द को हटाने के लिये भाजपा संविधान में संशोधन करेगी। उन्होंने लोगों से लोकसभा में भाजपा को दो-तिहाई बहुमत देने का आह्वान किया, ताकि देश के संविधान में संशोधन किया जा सके। बता दें कि हेगड़े ने 6 साल पहले भी इसी तरह का बयान दिया था। हेगड़े ने कहा कि भाजपा को संविधान में संशोधन करने के लिए और ‘‘कांग्रेस द्वारा इसमें जोड़ी गईं अनावश्यक चीजों को हटाने के लिए’’ संसद के दोनों सदनों में दो-तिहाई बहुमत की जरूरत होगी।
“अगर संविधान में संशोधन करना है…”
हेगड़े ने करवार में एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि भाजपा को इसके लिए 20 से अधिक राज्यों में सत्ता में आना होगा। कर्नाटक से छह बार के लोकसभा सदस्य हेगड़े ने कहा, ‘‘अगर संविधान में संशोधन करना है, कांग्रेस ने संविधान में अनावश्यक चीजों को जबरदस्ती भरकर, विशेष रूप से ऐसे कानून लाकर, जिनका उद्देश्य हिंदू समाज को दबाना था, संविधान को मूल रूप से विकृत कर दिया है – यदि यह सब बदलना है, तो यह इस (वर्तमान) बहुमत के साथ संभव नहीं है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘अगर हम सोचते हैं कि यह किया जा सकता है, क्योंकि लोकसभा में कांग्रेस नहीं है और (प्रधानमंत्री नरेन्द्र) मोदी के पास लोकसभा में दो-तिहाई बहुमत है, और चुप रहें, तो यह संभव नहीं है।’’
“तो संविधान संशोधन राज्यसभा में पारित नहीं हो पाएगा”
हेगड़े ने कहा कि संविधान में बदलाव के लिए लोकसभा, राज्यसभा में दो-तिहाई बहुमत के साथ-साथ दो-तिहाई राज्यों में भी जीत हासिल करना जरूरी है। हेगड़े ने कहा, ‘‘मोदी ने कहा है कि ‘‘अबकी बार, 400 पार। 400 पार क्यों? लोकसभा में हमारे पास दो-तिहाई बहुमत है, लेकिन राज्यसभा में हमारे पास दो-तिहाई बहुमत नहीं है। हमारे पास कम बहुमत है। राज्य सरकारों में हमारे पास पर्याप्त बहुमत नहीं है।’’ उन्होंने कहा कि आगामी लोकसभा चुनाव में राजग को 400 सीट मिलने से इसी तरह का बहुमत राज्यसभा में भी हासिल करने में मदद मिलेगी। कर्नाटक में हाल में संपन्न राज्यसभा चुनावों में तीन सीट पर कांग्रेस और एक पर भाजपा की जीत की ओर इशारा करते हुए हेगड़े ने कहा कि अगर कांग्रेस की संख्या बढ़ती है, तो भाजपा सरकार द्वारा किया गया कोई भी संविधान संशोधन राज्यसभा में पारित नहीं हो पाएगा। नागरिकता संशोधन अधिनियम का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि यह लोकसभा में पारित हो गया, लेकिन बाद में राज्यसभा में ‘बड़े प्रयासों से’ पारित हुआ। हेगड़े ने कहा कि लेकिन कई राज्य सरकारों ने इसे मंजूर नहीं किया और इसे लागू नहीं किया जा सका।
भाजपा सांसद हेगड़े ने समझाया बहुमत का गेम
भाजपा सांसद ने कहा, ‘‘अब सरकार की योजना सीएए को एक संशोधन के माध्यम से लागू करने की है। यदि नहीं हुआ, तो कानून व्यवस्था नियंत्रण से बाहर हो जाएगी और राष्ट्र-विरोधियों को खुली छूट मिल जाएगी।’’ हेगड़े ने ‘राष्ट्र विरोधियों’ के संदर्भ में स्पष्ट रूप से कोई नाम नहीं लिया। उन्होंने कहा, “अगर हम 400 से अधिक लोकसभा सीट जीतते हैं, तो हम विधानसभा सीट भी जीत सकते हैं। इससे 20 से अधिक राज्य हमारे पास आ जाएंगे और राज्य सरकारों में भी हमारे पास दो-तिहाई बहुमत होगा। लोकसभा, राज्यसभा और राज्य सरकारों में दो-तिहाई बहुमत अगर एक बार हो जाए, तो फिर देखें कि यह कैसा होगा।’’ बता दें कि वर्ष 2017 में तत्कालीन कौशल विकास राज्य मंत्री हेगड़े ने संविधान में बदलाव की बात करके विवाद खड़ा कर दिया था।
हेगड़े के बयान से बीजेपी ने किया किनारा
वहीं अनंत कुमार हेगड़े के इस बयान पर भाजपा ने किनारा किया है। कर्नाटक बीजेपी सोशल मीडिया पर लिखा, संविधान पर सांसद अनंत कुमार हेगड़े की टिप्पणी उनके निजी विचार हैं और पार्टी के रुख को प्रतिबिंबित नहीं करते हैं। बीजेपी देश के संविधान को बनाए रखने के लिए हमारी अटूट प्रतिबद्धता की पुष्टि करती है और हेगड़े से उनकी टिप्पणियों के संबंध में स्पष्टीकरण मांगी जाएगी।